मुरादाबाद शहर विधानसभा से विधायक रह चुके है हाजी युसूफ अंसारी
मुरादाबाद। भारत में जातिगत जनगणना की मांग हमेशा से रही है जनगणना से अलग-अलग जातियों की संख्या के आधार पर उन्हें सरकारी योजनाओं का लाभ पहुंचाने की कोशिश रहती है लोगों के बीच असमानताओं को दूर करने के लिए जातिगत जनगणना की जरूरत होती है।
जहाँ एक तरफ समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव और कांग्रेस सहित कई राजनीतिक पार्टियों जाति जनगणना की मांग करती रही है तो वहीं अब राष्ट्रीय स्वयं संघ के प्रमुख मोहन भागवत और राष्ट्रीय मुस्लिम मंच के राष्ट्रीय अध्यक्ष इंद्रेश कुमार भी अब जाति जनगणना के समर्थन में संकेत दे रहे हैं।

जाति जनगणना के मुद्दे पर मुरादाबाद नगर सपा पूर्व विधायक हाजी यूसुफ अंसारी ने एक मीडिया चैनल को अपना इंटरव्यू देते हुए कहा है कि जाति जनगणना की मांग हमेशा से होती आ रही है और सरकार भी अब जाति जनगणना के समर्थन में संकेत दे रही है तो जल्द से जल्द जाति जनगणना होनी चाहिए।

हम सरकार से मांग करते हैं कि जाति जनगणना के दौरान मुसलमानों की भी जाति जनगणना होनी चाहिए क्योंकि मुसलमान में भी कई तरह की जातियां हैं आखिरकार इन मुस्लिम जातियों की भी जनगणना सामने आनी चाहिए मुसलमान बहुत पिछड़ चुका है बल्कि मुसलमान की हालत तो दलित से भी बत से बत्तर है।
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आगे बोलते हुए कहा अगर जाति जनगणना में मुसलमानो की भी जाति जनगणना होती है तो उसका फायदा ग़रीब बेसहारा मज़दूर लोगो को मिलेगा जब सरकार अल्पसंख्यकों के फायदे के लिए कोई योजना चलाती है तो उसका फायदा सिर्फ़ कारोबारी को ही मिलता है लेकिन गरीब बेसहारा और मजदूर लोगों को कोई फायदा नही मिलता।
अगर जाति जनगणना के दौरान मुसलमानो की भी जाति जनगणना होती है तो मुसलमानों को भी इसका फायदा मिलेगा और जिसका जो हक है उसको मिल जायेगा लिहाज़ा जाति जनगणना में मुस्लिम जाति जनगणना शामिल हो।