शराब के कारण हत्या के मामले में तीसरे आरोपी की तलाश जारी, उसकी फाइल दूसरी कोर्ट में
शराब के लिए अपने साथी की हत्या करने वाले दो दोस्तों को अदालत ने दोषी करार देते हुए आजीवन कारावास की सजा सुनाई है साथ ही दोनों पर 12-12 हजार रुपये का जुर्माना लगाया है। इस मामले में तीसरे आरोपी के फरार होने के कारण उसकी फाइल दूसरी कोर्ट में चल रही है। मझोला थाना क्षेत्र के जयंतीपुर निवासी अनिल कुमार ने 14 मई 2008 में मझोला थाने में गुमशुदगी दर्ज कराई थी। उसने कहा था कि उसका छोटा भाई रविंद्र उर्फ बिल्लू अपने रिश्तेदार जितेंद्र को लेने रेलवे स्टेशन गया था। जितेंद्र तो घर आ गया था लेकिन रविंद्र नहीं आया। इसके बाद परिजन रविंद्र की तलाश में जुट गए थे।

कई दिनों बाद उसकी लाश कटघर क्षेत्र में तालाब में मिली। पोस्टमार्टम रिपोर्ट से पता चला था कि चाकू से गोदकर उसकी हत्या की गई थी। 22 अक्तूबर 2008 को यह मामला हत्या में तरमीम किया गया था। इस मामले में राहुल नाम के युवक ने पुलिस को बयान दिया था कि उसने रविंद्र को जयंतीपुर निवासी शकुनी के साथ बाइक से आते हुए देखा था।
इसके बाद पुलिस ने शकुनी को हिरासत में लेकर पूछताछ की। इसके बाद पुलिस ने जयंतीपुर निवासी सुनील और महेंद्र को भी हिरासत में ले लिया। तीनों ने पूछताछ में पुलिस को बताया कि वह रविंद्र के साथ शराब पीने गए थे, जहां शराब के रुपये देने को लेकर झगड़ा हो गया था। इसी दौरान तीनों ने चाकू से गोदकर रविंद्र की हत्या करने के बाद उसकी लाश कटघर क्षेत्र में फेक दी थी। इस मामले में पुलिस ने तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। इस मामले की सुनवाई अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश संख्या चार रेश्मा चौधरी की अदालत में की गई।

तीनों आरोपियों की जमानत इलाहाबाद हाई कोर्ट से हो गई थी। जिसके बाद आरोपी महेंद्र सिंह फरार हो गया। अदालत ने महेंद्र की पत्रावली पृथक करने के बाद मुकदमे की सुनवाई शुरू कर दी। जिसमें गवाह के रूप में आए राहुल ने आरोपियों की पहचान की और अदालत को बताया कि मृतक रविन्द्र घटना वाले दिन इन्हीं के साथ गया था। अदालत ने पत्रावली पर मौजूद साक्ष्यों के आधार पर आरोपी शकुनी और सुनील को हत्या का दोषी पाते हुए उन्हें आजीवन कारावास की सजा के साथ दोनों पर 12-12 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है।