शास्त्रीपुरम में जवान की आत्महत्या: परिवार ने हत्या की आशंका जताई
आगरा में शास्त्रीपुरम (सिकंदरा) में रविवार रात को यूपी एसएसएफ (स्पेशल सिक्योरिटी फोर्स) के जवान अजय कुमार चाहर (28) ने आत्महत्या कर ली। पुलिस के मुताबिक, उनका शव कमरे में फंदे पर लटका मिला। घर में पत्नी और बेटी ही थीं। सोमवार को पोस्टमार्टम के बाद पार्थिव शरीर को पुलिस और एसएसएफ के जवानों ने श्रद्धांजलि दी। इसके बाद अंतिम संस्कार कर दिया। मूल रूप से किरावली के गांव सरसा गांव निवासी अजय चाहर वर्ष 2018 में यूपी पुलिस में भर्ती हुए थे। वर्तमान में यूपी एसएसएफ में दीवानी न्यायालय की सुरक्षा में तैनात थे। भाई कपिल सिंह ने बताया कि अजय की चार वर्ष पूर्व शादी हुई थी। वह शास्त्रीपुरम में पत्नी अंजलि और एक वर्ष की बेटी के साथ किराए के मकान में रह रहे थे। रविवार रात कमरे में उनका शव फंदे पर लटका मिला।

पत्नी के शोर मचाने पर पड़ोसी आए। उन्हें फंदे से उतारकर चिकित्सक के पास ले गए, जहां उन्हें मृत घोषित कर दिया गया। थाना प्रभारी निरीक्षक ने बताया कि जवान ने आत्महत्या की है। इसका कारण पता नहीं चल सका है। पत्नी कुछ भी बताने की स्थिति में नहीं हैं। सुसाइड नोट भी नहीं मिला है। जांच की जा रही है। प्रथम दृष्टया मामला गृह क्लेश में आत्महत्या का लग रहा है।
मकान मालिक ने नहीं तोड़ने दिया दरवाजा
मृतक सिपाही के ताऊ भगत का कहना था कि रविवार रात को अजय ने कमरा अंदर से बंद कर लिया था। बहू अंजलि ने पति को देखकर शोर मचाया। इस पर पड़ोस में रहने वाले पुलिसकर्मी आ गए। वह दरवाजा तोड़ना चाहते थे, जिससे जल्द से जल्द निकाला जा सके। आरोप लगाया कि मकान मालिक ने दरवाजा तोड़ने नहीं दिया। इस कारण देर हो गई। सही समय पर अगर दरवाजा टूट जाता तो शायद उनकी जान बच जाती। पुलिस भी काफी देर से पहुंच पाई। अजय दो भाई और दो बहन थे। पिता खेती करते हैं। भाई भी पुलिस में हैं। झांसी में तैनात हैं। कपिल के मुताबिक, रात में अजय ने फोन पर पिता और ससुर से बात की थी। इसके बाद क्या हुआ, नहीं जानते हैं।

एक साल की बेटी के सिर से उठा पिता का साया
सोमवार शाम को सिपाही अजय सिंह चाहर के पार्थिव शरीर को सरसा गांव लाया गया। इससे परिवार में कोहराम मच गया। परिजन का रो-रोकर बुरा हाल था। इस दाैरान पुलिस ने अंतिम सलामी दी। मुखाग्नि भतीजे अथर्व ने दी। मृतक की एक वर्षीय बेटी मायरा है। उसके सिर से पिता का साया उठ गया। पति की माैत से पत्नी अंजलि बेसुध हो गई। अंतिम संस्कार में गुड्डू चाहर, बंटी प्रधान, मोहन सिंह चाहर, छीतर सिंह, चोब सिंह प्रधान आदि माैजूद रहे।