एक साल बाद मिली सफलता: प्रयागराज के सिविल लाइन थाने में दर्ज मुकदमे में गिरफ्तारी
समीक्षा अधिकारी परीक्षा का पेपर लीक कराने वाले गिरोह के एक आरोपी को एसटीएफ ने मंगलवार रात रोहनिया के बेटावर बच्छाव से गिरफ्तार किया। प्रयागराज के सिविल लाइन थाने में दर्ज मुकदमे के एक साल बाद आरोपी की गिरफ्तारी हुई। एसटीएफ की पूछताछ में कई राज उजागर हुए। 12 से 15 लाख रुपये में सौदा और पेपर आउट कराया गया था। एसटीएफ ने बताया कि आरोपी की पहचान रोहनिया थाना क्षेत्र के बेटावर बच्छाव निवासी जय सिंह के रूप में हुई है। एसटीएफ के अपर पुलिस अधीक्षक लाल प्रताप सिंह के पर्यवेक्षण में एसटीएफ लखनऊ के निरीक्षक अंजनी कुमार पांडेय की टीम ने आरोपी को पकड़ा है। जय सिंह ने पूछताछ में बताया कि समीक्षा अधिकारी/ सहायक समीक्षा अधिकारी 2023 परीक्षा का फॉर्म भरा था।

ये है पूरा मामला
बीएचयू कैंपस के मधुबन पार्क में सुभाष प्रकाश से मुलाकात हुई। उसने कहा कि उसके कई अधिकारियों से संपर्क है और वह अपने साथियों के साथ मिलकर परीक्षाओं के पेपर आउट करते हैं। सुभाष प्रकाश ने मोबाइल नंबर दिया था, इस पर व्हाट्सएप से बात होने लगी। इस बीच, सुभाष ने विवेक उपाध्याय का मोबाइल नंबर दिया और भोपाल बुलाया। 7 फरवरी 2024 को भोपाल के होटल कमल पैलेस आनंद नगर में ठहराया गया। अगले दिन दोपहर में सुभाष और विवेक आदि तीन-चार लोग पेपर लेकर पहुंचे थे।

पेपर में वहीं प्रश्न आए थे, जो सुभाष और विवेक ने दिए
पेपर में समीक्षा अधिकारी/सहायक समीक्षा अधिकारी 2023 की परीक्षा का सामान्य अध्ययन और हिंदी के प्रश्न थे। उन लोगों ने प्रश्न पत्र को गूगल के माध्यम से हल करवाया था। हम सभी लोगों को प्रश्न उत्तर पढ़ने को दिया था। शाम को प्रश्न उत्तर वापस ले लिए थे। वापस जाकर परीक्षा देने को कहा गया था। 11 फरवरी को समीक्षा अधिकारी/सहायक समीक्षा अधिकारी-2023 की परीक्षा दी थी, जिसमें वही प्रश्न आए थे जो कि सुभाष, विवेक व उसके साथियों ने भोपाल के होटल में दिए थे। सुभाष प्रकाश से 12-15 लाख रुपये में सौदा हुआ था। सुभाष प्रकाश और विवेक उपाध्याय को साथियों के साथ 23 जून 2024 को एसटीएफ ने गिरफ्तार किया था। सभी को जेल भेजा गया।